राजकोट : अफ्रीकी देश मोजाम्बिक में फायरिंग कर गुजराती व्यापारी के अपहरण का गहराता जा रहा रहस्य
पिछले 16 वर्षों से स्थायी हुए व्यापारी को मुक्त करने के लिए अपहरणकर्ताओं ने 30 लाख रुपये की मांग करने के बाद कोई संपर्क नहीं हो सका
मूल रूप से पोरबंदर का रहने वाले तथा पिछले 16 वर्षों से मोजाम्बिक में जनरल स्टोर चलाने वाले युवक का गत 3 मार्च की रात को लुटेरों द्वारा अंधाधुंध फायरिंग कर उसे अगवा करने के बाद से अब तक कोई सुराग नहीं लगने पर परिवार के लोग चिंतित हैं। गृहमंत्री और पोरबंदर के स्थानीय नेताओं को सूचित करने के बावजूद भी उनका कोई पता नहीं चल पाया है, जिससे परिवार के लोग और भी चिंतित हैं।
स्थानीय समाचार पत्र में प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार मूल रूप से पोरबंदर निवासी 36 वर्षीय विनय सोहनभाई सोनेजी, जो पिछले सोलह वर्षों से मोजाम्बिक के मापुटो में रह रहे थे और 'गेनागेनाद' (पधारो...पधारो) नामक एक जनरल स्टोर चलाते थे। वहां के एक स्थानीय गिरोह के लुटेरों ने अपहरण कर ले गए। तीन मार्च को रात 8:10 बजे अपना दुकान मंगल कर दो गुजराती स्टॉफ तथा एक गार्ड के साथ विनय अपनी कार लेने के लिए सड़क पार कर रहे थे, तभी अचानक एक कार में सवार होकर लुटेरे वहां पहुंचे। कार से दो व्यक्ति हथियारों के साथ उतरे और अंधाधुंध गोलीबारी करते हुए कुछ ही सेकंड में उनका अपहरण कर कार में डालकर ले गए।
इसके बाद रात में लुटेरों ने अपने स्थानीय साथियों को फोन कर 30 लाख रुपये की फिरौती मांगी।अपहरणकर्ताओं द्वारा मांगी गई फिरौती की रकम देने की तैयारी बताई गई थी, लेकिन केवल एक शर्त विनय से फोन पर बात करने की मांग किया था। फिरौती की मांग करने वाले ने कहा कि वे आधे घंटे में बात कराएंगे, लेकिन इसके बाद तीन दिन बीत जाने पर भी अपहरणकर्ताओं का फोन नहीं आया। परिजनों के लोगों ने गुजरात के मुख्यमंत्री, गृहमंत्री हर्ष संघवी, सांसद से लेकर विधायक तक तथा पोरबंदर कलेक्टर सहित पुलिस के आला अधिकारियों से पेशकश की है। परंतु अभी तक कोई संतोष कारण जवाब नहीं मिला है।