राजकोट : सौराष्ट्र-कच्छ में गर्मी का कहर, राजकोट में टूटा 23 साल का रिकॉर्ड, 45.2 डिग्री तापमान

कांडला में सबसे अधिक 45.6 डिग्री, लू से लोग बेहाल; स्कूलों का समय बदला, यलो अलर्ट जारी

राजकोट : सौराष्ट्र-कच्छ में गर्मी का कहर, राजकोट में टूटा 23 साल का रिकॉर्ड, 45.2 डिग्री तापमान

राजकोट और सौराष्ट्र-कच्छ क्षेत्र में अप्रैल की भीषण गर्मी ने पिछले ढाई दशकों के रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। गुरुवार को राजकोट में पारा 45.2 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया, जो पिछले 23 वर्षों में सबसे अधिक तापमान है। वर्ष 2002 में इसी महीने 45.1 डिग्री तापमान दर्ज किया गया था। इस साल सूर्य ने अपना प्रचंड रूप दिखाते हुए नया रिकॉर्ड बना दिया है।
 
गर्मी के कारण सड़कों और बाजारों में दोपहर के समय सन्नाटा छा जाता है, मानो प्राकृतिक कर्फ्यू लग गया हो। राजकोट में लू लगने से चार लोग बेहोश हो गए, जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। अगले 24 घंटों के लिए यलो अलर्ट जारी किया गया है। सरकारी कार्यालयों और धार्मिक संस्थाओं ने लोगों को राहत देने के लिए ठंडे पानी का वितरण शुरू कर दिया है।

राज्य भर में तापमान कांडला एयरपोर्ट 45.6°C (राज्य में सर्वाधिक), अमरेली 44.3°C, पोरबंदर 43.0°C, केशोद-सुरेंद्रनगर 43.8°C, जूनागढ़ 43.4°C, भावनगर 41.2°C, महुवा 38.4°C, वेरावल 39.8°C, दीव 34.2°C, ओखा 32.8°C, द्वारका 30.9°C दर्ज किया गया है। 

मौसम विभाग के अनुसार आने वाले कुछ दिनों तक भीषण गर्मी जारी रहने की संभावना है। विशेषज्ञों ने बिना आवश्यक कार्य के घर से बाहर न निकलने, पानी अधिक मात्रा में पीने और धूप से बचाव के उपाय अपनाने की सलाह दी है।

डीईओ ने स्कूलों का समय सुबह करने के आदेश दिए
 
गर्मी की गंभीरता को देखते हुए राजकोट के जिला शिक्षा अधिकारी किरीटसिंह परमार ने शहर और जिले के सभी स्कूलों (सरकारी, अनुदानित और निजी) के समय में बदलाव करते हुए उन्हें सुबह 7 से 11 बजे तक संचालित करने का आदेश दिया है। साथ ही, खुली हवा में कक्षाएं प्रतिबंधित कर दी गई हैं।  स्कूलों को निर्देश दिया गया है कि वे बच्चों को लू और हीटवेव से बचाव के उपायों के प्रति जागरूक करें। यह कदम "लू को मूक आपदा" मानते हुए उठाया गया है।

 

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