विवेक पटेल: एक पूर्व विधायक जो प्रचार से दूर रहकर सेवा में समर्पित रहते हैं

विवेक पटेल: एक पूर्व विधायक जो प्रचार से दूर रहकर सेवा में समर्पित रहते हैं

आज के सोशल मीडिया युग में जहां अधिकतर राजनेता प्रसिद्धि और पहचान के लिए प्रयासरत रहते हैं, वहीं गुजरात के एक पूर्व विधायक ऐसे भी हैं जो इस चकाचौंध से दूर रहकर केवल जनसेवा में लगे हुए हैं। सूरत की उधना विधानसभा सीट के पूर्व भाजपा विधायक विवेक पटेल अपनी सादगी और समर्पण के लिए जाने जाते हैं। जहां कई नेता सोशल मीडिया पर अपनी पहचान बनाने में व्यस्त रहते हैं, वहीं पटेल सीधे जनता के बीच जाकर उनकी समस्याओं का समाधान करने में विश्वास रखते हैं। उनकी कार्यशैली और समर्पण हमें यह याद दिलाते हैं कि राजनीति का असली उद्देश्य सेवा और जनसंपर्क होना चाहिए, न कि केवल प्रचार और प्रसिद्धि।

सूरत का उधना क्षेत्र औद्योगिक और श्रमिक वर्ग का प्रमुख केंद्र है, जहां रोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा और बुनियादी सुविधाओं की समस्याएं अन्य क्षेत्रों की तुलना में अलग हैं। यहां के लोग मुख्य रूप से टेक्सटाइल और हीरा उद्योग से जुड़े हुए हैं, और उनकी आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए विवेक पटेल ने अपनी सेवा का ढांचा तैयार किया है। वे केवल चुनाव के समय ही जनता के बीच नजर नहीं आते, बल्कि हर समय उनके साथ जुड़े रहते हैं। उनकी पारदर्शी कार्यशैली ने उन्हें जनता के बीच अटूट विश्वास दिलाया है, और लोग उन पर बिना किसी संदेह के भरोसा करते हैं।

एक पूर्व विधायक के रूप में पटेल की सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे अपने क्षेत्र की हर छोटी-बड़ी समस्या को गंभीरता से लेते हैं। चाहे सड़क निर्माण हो, पानी की समस्या हो या शिक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाने की बात, वे हर विषय पर सक्रिय रहते हैं। आज जब कई नेता सिर्फ बड़े-बड़े वादों तक सीमित रह जाते हैं, विवेक पटेल छोटी-छोटी समस्याओं पर ध्यान देकर आम लोगों का जीवन सरल बनाने का प्रयास करते हैं। उनके कार्य इतने निष्कपट और समर्पित होते हैं कि कई बार मीडिया में भी उनकी उपलब्धियों की चर्चा नहीं होती, लेकिन उधना की जनता के दिलों में उनका स्थान हमेशा बना रहता है।

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सोशल मीडिया का उपयोग आज राजनीति में एक प्रभावी हथियार बन चुका है, जहां नेता अपनी हर गतिविधि को ऑनलाइन साझा कर जनता का ध्यान आकर्षित करने की कोशिश करते हैं। लेकिन विवेक पटेल इस दौड़ से अलग हैं। वे मानते हैं कि असली पहचान केवल काम से बनती है, न कि कैमरों की चमक-दमक से। उनकी सादगी और निष्ठा यह दर्शाती है कि राजनीति में अब भी ऐसे नेता मौजूद हैं जो सेवा को ही अपना पहला कर्तव्य मानते हैं, न कि प्रसिद्धि को।

विवेक पटेल का जीवन और कार्य समाजसेवकों और नई पीढ़ी के नेताओं के लिए एक प्रेरणा बन सकते हैं। उनका समर्पण यह सिखाता है कि जनता का विश्वास जीतने के लिए बड़े-बड़े वादों की नहीं, बल्कि सच्चे मन से किए गए कार्यों की आवश्यकता होती है। उधना के लोगों के लिए वे सिर्फ एक पूर्व विधायक नहीं हैं, बल्कि एक ऐसा नाम हैं जो हर मुश्किल घड़ी में उनके साथ खड़ा रहता है।

जब राजनीति में प्रचार-प्रसार और सोशल मीडिया अभियान का महत्व बढ़ता जा रहा है, तब विवेक पटेल जैसे नेता हमें यह याद दिलाते हैं कि असली राजनीति जनसेवा का माध्यम होनी चाहिए। उनका जीवन यह साबित करता है कि यदि निष्ठा और समर्पण के साथ काम किया जाए, तो बड़े प्रचार की कोई जरूरत नहीं होती—जनता के दिलों में जगह बनाना ही सच्ची सफलता है।

(लेखक एक प्रतिष्ठित उद्यमी और समाज सेवक हैं। लेख में व्यक्त किये गये विचार उनके निजी विचार हैं। )