सूरत: ब्रेन डेड लिपिक के अंगों का दान, तीन लोगों को मिली नई जिंदगी

अंगदान के प्रति सूरत की जागरूकता

सूरत: ब्रेन डेड लिपिक के अंगों का दान, तीन लोगों को मिली नई जिंदगी

सूरत। टेक्सटाइल और डायमंड सिटी के नाम से मशहूर सूरत अब देश में अंगदान करने वाले शहर के रूप में भी ख्याति प्राप्त कर रहा है। इस बीच, सूरत नगर निगम से 2020 में वरिष्ठ क्लर्क के पद से सेवानिवृत्त हुए विजयकुमार ठक्कर  ब्रेन डेड घोषित होने पर परिवार द्वारा उनके गुर्दे और यकृत का अंग दान किया गया। डोनेट लाइफ संस्था द्वारा न्यू सेठ पीटी मल्टीस्पेशलिटी (सूरत जनरल) अस्पताल से अंगदान किया गया है।

20 जनवरी को विजयकुमार अपनी पत्नी इलाबेन के साथ दवा लेने के लिए दोपहिया वाहन पर स्मीमेर अस्पताल जा रहे थे। तभी लाल दरवाजा के पास ओवरब्रिज पर उनकी बाइक फिसलने से वह बाइक से गिर गए। सिर पर चोट लगने के कारण वह बेहोश थे। उन्हें तुरंत 108 एम्बुलेंस के जरिए स्मीमेर अस्पताल में भर्ती कराया गया। सीटी स्कैन किया गया और पता चला कि यह मस्तिष्क में रक्तस्राव और रक्त का थक्का है। न्यूरोसर्जन डॉ. दीपेश कक्कड़ ने मस्तिष्क में रक्त के थक्के को हटाने के लिए क्रैनियोटॉमी की। 20 जनवरी को रात 8 बजे आगे के इलाज के लिए न्यू सेठ पीटी

मल्टीस्पेशलिटी (सूरत जनरल) अस्पताल में भर्ती कराया गया।  22 जनवरी को न्यूरोसर्जन ने विजयकुमार को ब्रेन डेड घोषित कर दिया। विजयकुमार के भतीजे वीरेश रंजनभाई ठक्कर ने डोनेट लाइफ के संस्थापक नीलेश मंडलेवाला से फोन पर संपर्क किया और उन्हें विजयकुमार की ब्रेन डेड के बारे में बताया तथा अंगदान प्रक्रिया समझाने के लिए अस्पताल आने को कहा। डोनेट लाइफ टीम ने अस्पताल पहुंचकर विजयकुमार की पत्नी इलाबेन, बेटे पार्थ, भतीजे वीरेशभाई, भतीजे की बहू भावनाबेन, साले जयेशभाई ठक्कर और अन्य परिवार के सदस्यों को अंगदान का महत्व और इसकी पूरी प्रक्रिया के बारे में बताया।

परिवार से अंग दान के लिए सहमति मिलने के बाद सोट्टो से संपर्क किया गया। सोट्टो अहमदाबाद के अपोलो अस्पताल को लीवर और अहमदाबाद के दो अस्पतालों को दोनों किडनी आवंटित की गई। दान किए गए लीवर का प्रत्यारोपण अहमदाबाद के अपोलो अस्पताल में बड़ौदा निवासी 42 वर्षीय व्यक्ति में किया। दान की गई दोनों किडनियों को अहमदाबाद के अस्पताल में दो जरूरतमंद मरीजों में प्रत्यारोपित किया जाएगा।
लीवर और किडनी को समय पर हवाई मार्ग से अहमदाबाद पहुंचाने के लिए सूरत सिटी पुलिस द्वारा न्यू सेठ पी.टी. मल्टीस्पेशलिटी (सूरत जनरल) अस्पताल से सूरत हवाई अड्डे तक एक ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया। उल्लेखनीय है कि सूरत सिटी पुलिस ने डोनेट लाईफ संस्था के लिए हृदय, फेफड़े, हाथ, छोटी आंत, लीवर और किडनी जैसे महत्वपूर्ण अंगों को देश के विभिन्न शहरों में समय पर पहुंचाने के लिए अब तक 130 ग्रीन कॉरिडोर बनाए हैं।

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