सूरत : महापौर दक्षेश मावाणी ने रायसीना डायलॉग 2025 में किया सूरत मॉडल का प्रस्तुतिकरण
दुबई एक्सपो के साथ महापौरीय गोलमेज चर्चा में लिया भाग , सूरत मॉडल की वैश्विक प्रस्तुति
सूरत : भारत के प्रमुख भू-राजनीतिक और भू-अर्थशास्त्र सम्मेलन "रायसीना डायलॉग 2025" में इस वर्ष शहरी विकास और स्मार्ट सिटी नवाचारों पर विशेष चर्चा हुई। यह सम्मेलन ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन (ORF) और भारत सरकार के विदेश मंत्रालय के सहयोग से 17 से 19 मार्च तक नई दिल्ली में आयोजित किया गया। इसमें विभिन्न देशों के राष्ट्राध्यक्षों, कैबिनेट मंत्रियों, नीति निर्माताओं और स्थानीय प्रशासनिक अधिकारियों ने भाग लिया।
सूरत शहर के महापौर दक्षेश मावाणी को इस सम्मेलन में विशेष रूप से आमंत्रित किया गया था। उन्होंने "महापौरीय गोलमेज चर्चा" (Mayor’s Roundtable) में भाग लिया, जो दुबई एक्सपो 2025 के सहयोग से आयोजित किया गया था। इस चर्चा का उद्देश्य शहरी चुनौतियों और उनके अभिनव समाधानों पर विचार-विमर्श करना था।
महापौर दक्षेश मावाणी ने अपने संबोधन में सूरत शहर की विकास यात्रा और उसकी स्मार्ट सिटी पहल को वैश्विक स्तर पर प्रस्तुत किया। शहरी चुनौतियों जैसे तेजी से बढ़ती आबादी, जल प्रबंधन, यातायात नियंत्रण और कचरा प्रबंधन पर चर्चा की। सूरत में तकनीक आधारित समाधानों, स्मार्ट ट्रांसपोर्ट, सस्टेनेबल इंफ्रास्ट्रक्चर और क्लाइमेट-रेसिलिएंट सिटी प्लानिंग पर प्रकाश डाला।
इस विशेष संवाद में विभिन्न देशों के महापौरों और नीति निर्माताओं के साथ-साथ एक्सपो सिटी दुबई (संयुक्त अरब अमीरात) की कार्यकारी निदेशक नादिया विरजी और वरिष्ठ प्रबंधक मिशा मित्तल भी शामिल थीं।
रायसीना डायलॉग हर वर्ष नई दिल्ली में आयोजित होता है, जहां राजनीति, व्यापार, मीडिया और नागरिक समाज के नेता वैश्विक मुद्दों पर चर्चा करते हैं। इस बार शहरी विकास को प्रमुख विषयों में शामिल किया गया, ताकि स्थायी और स्मार्ट शहरों के निर्माण पर विचार किया जा सके।
सूरत के महापौर दक्षेश मावाणी की रायसीना डायलॉग में भागीदारी ने सूरत मॉडल को वैश्विक मंच पर प्रस्तुत करने का अवसर दिया। इससे सूरत को एक स्मार्ट, नवाचारशील और पर्यावरण-अनुकूल शहर के रूप में पहचान मिली। इस चर्चा के माध्यम से अंतरराष्ट्रीय नगर पालिकाओं के साथ सूरत का सहयोग बढ़ाने और नवीन शहरी समाधान अपनाने के नए अवसर प्राप्त हो सकते हैं।