दो ‘हरित गलियारों’ के जरिये तीन घंटे में नागपुर से दिल्ली तक लाया गया दान किया गया हृदय
नयी दिल्ली, 13 दिसंबर (भाषा) दो ‘हरित गलियारे’ बनाकर दान किए गए एक हृदय को तीन घंटे और चार मिनट के रिकॉर्ड समय में नागपुर से दिल्ली पहुंचाया गया, जिससे 59 वर्षीय एक महिला को नया जीवन मिला।
ओखला रोड स्थित ‘फोर्टिस एस्कॉर्ट्स हार्ट इंस्टिट्यूट’ के एक बयान के अनुसार, हृदय को रात के दौरान हवाई और सड़क मार्ग से 1,067 किलोमीटर से अधिक की यात्रा करके दिल्ली लाया गया।
इसी अस्पताल में हृदय प्रतिरोपण किया गया।
‘फोर्टिस एस्कॉर्ट्स हार्ट इंस्टिट्यूट’ के वयस्क हृदय शल्य चिकित्सक रित्विक राज भुइंया ने कहा कि ऐसे मामलों में समय की अहम भूमिका होती है क्योंकि दानकर्ता से हृदय निकालने से लेकर प्रतिरोपण करने तक का आदर्श समय छह घंटे का होता है। इन छह घंटों के भीतर, हृदय को प्रतिरोपित किया जाना चाहिए।
उन्होंने बताया कि यह यात्रा नागपुर के किंग्सवे अस्पताल से रात 12:53 बजे शुरू हुई, जहां इसे 43 वर्षीय पुरुष दानकर्ता से लिया गया था, जिसकी मस्तिष्क आघात के कारण मृत्यु हो गई थी। हृदय को रात 1:12 बजे एयर एम्बुलेंस के माध्यम से दिल्ली ले जाया गया और नागपुर से रवाना होकर तड़के 3:19 बजे यह इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पहुंचा। यहां दिल्ली यातायात पुलिस द्वारा बनाए गए दूसरे हरित गलियारे के जरिये हृदय को फोर्टिस एस्कॉर्ट्स हार्ट इंस्टिट्यूट, ओखला रोड तक पहुंचाया गया, जहां 20 किलोमीटर की दूरी केवल 27 मिनट में तय की गई।