सूरत : तापी नदी का तल जलकुंभी से हरे-भरे मैदान में तब्दील, पानी की जगह बदबू की शिकायत

गर्मी के दिनों में पानी की मांग बढने के साथ नदी के पानी में बंदबु की शिकायत

सूरत : तापी नदी का तल जलकुंभी से हरे-भरे मैदान में तब्दील, पानी की जगह बदबू की शिकायत

सूरत की जीवनदायिनी तापी नदी अब हर गर्मियों में दम तोड़ती नजर आ रही है। सूरती जो तापी नदी की पूजा करते हैं। उसी लोकमाता की हालत साल दर साल बदतर होती जा रही है। जलभराव के कारण नदी का तल हरे घास के मैदान में तब्दील होता जा रहा है। जलीय पौधे पानी की गुणवत्ता में अंतर लाते हैं। साथ ही स्थानीय लोगों द्वारा बदबू फैलने की भी शिकायत की जा रही है।

पहले भी कई बार जलकुंभी के कारण पानी प्रदूषित होने का मामला सामने आया है। वैज्ञानिक दृष्टिकोण से भी जलकुंभी (काई) की जड़ें बहुत गहराई तक जाती हैं। इससे पानी का बहाव भी कम हो गया है। इसके कारण पानी से दुर्गंध भी आने लगती है। एक माह पहले जलकुंभी बढ़ने से पानी दूषित हो गया था। जिसके कारण उकाई बांध से पानी छोड़ कर इस जलकुंभी को हटाया गया।

सूरत स्वच्छता में देश में प्रथम स्थान पर आया है। लेकिन पेयजल के लिए उपयोग की जाने वाली तापी नदी के पट में जलकुंभी फैल गई है। जिससे पानी की गुणवत्ता भी कम हो जाती है। हर गर्मियों में पानी की मांग बढ़ने पर कीटों की संख्या में भी वृद्धि देखी जाती है। साथ ही हरित, जलीय, हरित जल की समस्या बनी रहती है। रांदेर, पालनपुर, वेड रोड, कतारगाम जैसे इलाकों में पानी से दुर्गंध की शिकायतें भी आने लगी हैं। 

Tags: Surat